आज दिनांक २ दिसंबर २०२३ दिन शनिवार को जीडी ग्लोबल स्कूल का वार्षिकोत्सव समारोह ओडिशी २०२३बड़े ही धूमधाम से मनाया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि महाराजा सुहेलदेव राज्य विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ प्रदीप कुमार शर्मा तथा विशिष्ट अतिथि जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय बलिया के कुलपति प्रो संजीव कुमार गुप्ता ने विद्यालय की निदेशिका श्रीमती स्वाति अग्रवाल, प्रबंधक श्री गौरव अग्रवाल तथा प्रधानाचार्या श्रीमती मोनिका सारस्वत पाण्डेय के साथ दीप प्रज्ज्वलित करके किया। विद्यालय के बच्चों द्वारा गणेश वंदना पर भव्य गायन और नृत्य प्रस्तुत किये गये।कार्यक्रम में आए हुए सभी अतिथियों का स्वागत विद्यालय के छात्र-छात्राओं द्वारा स्वागत गीत की मनमोहक प्रस्तुति से किया गया। स्वागत गीत के पश्चात नर्सरी के बच्चों द्वारा कंप्लेन किड्स पर बहुत ही मनोरम दृश्य प्रस्तुत किया गया। केजी के नन्हें मुन्हें बच्चों ने घोड़े जैसी चाल चकधुमधुम पर बहुत ही सुंदर नृत्य प्रस्तुत किया जो दर्शकों के आकर्षण का केंद्र रहा। नन्हें मुन्हें प्रतिभागियों द्वारा प्रस्तुत इस कार्यक्रम का मंच संयोजन बहुत ही अद्भुत था।कार्यक्रम में लगभग 1500 से भी अधिक प्रतिभागियों ने प्रतिभाग किया। विद्यालय के संगीत वादन के विद्यार्थियों ने श्रीवल्ली के द्वारा मधुर तान छेड़ते हुए कार्यक्रम को एक नई ऊर्जा दी। जहां कक्षा 1,2 के बच्चों ने ये तो सच है कि भगवान है पर मनमोहक गीत प्रस्तुत करके माता पिता की महत्ता को सिद्ध किया, वहीं तारे जमीं पर की थीम पर बच्चों ने अभिभावकों को बच्चों की भिन्न-भिन्न प्रतिभाओं को पहचानने की मिशाल पेश की।
ओडिशी का उद्देश्य न केवल क्षेत्रीय अपितु वैश्विक स्तर पर भी बच्चों की बहुमुखी प्रतिभा का विकास करना है इस विषय को दृष्टिगत रखते हुए इस वार्षिकोत्सव में विभिन्न राज्यों की संस्कृति का भी समावेश किया गया। जिसको चरितार्थ करते हुए एकता में अनेकता के थीम पर विभिन्न राज्यों की लोक संस्कृति और लोकनृत्य को शामिल करते हुए नमस्ते इंडिया के भव्य प्रस्तुति पर पूरा प्रांगण तालियों की गड़गड़ाहट से गूंजायमान हो गया। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020पर आधारित बहुआयामी शिक्षा को विकसित करने के उद्देश्य से जीडी ग्लोबल स्कूल में संचालित जीडी संगीत अकादमी के बच्चों ने अलबेला साजन पर सुंदर सामूहिक गान प्रस्तुत किया।पंजाब की संस्कृति पर आधारित विद्यार्थियों ने गिद्धा भांगड़ा नृत्य प्रस्तुत कर दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। स्त्री सशक्तीकरण और केंद्र तथा राज्य सरकार की योजना बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की थीम पर कक्षा 7,8,9 तथा 11की छात्राओं ने एक प्रभावशाली नाटिका और नृत्य प्रस्तुत किया। जहां शक्ति आस्था की प्रतीक नवदुर्गा के देशों अवतार पर आधारित कक्षा 9और 11के विद्यार्थियों ने महिषासुर मर्दिनी नामक नृत्य प्रस्तुत कर दर्शकों को तालियां बजाने पर मजबूर कर दिया वहीं हनुमान चालीसा पर विद्यालय के बच्चों ने अद्भुत प्रस्तुति देकर दर्शकों को भाव विभोर कर दिया। छठी मैया की स्मृति में लोकल से ग्लोबल होता छठ पर्व बहंगी लचकत जाय की अद्भुत प्रस्तुति ने भी दर्शकों पर अपना खूब रंग जमाया। हरियाणवी नृत्य की याद दिलाता हरियाणवी गीत न चाल मटक मटक के न तो मटका फोड़ के मानूंगी की अद्वितीय प्रस्तुति ने कार्यक्रम को जीवंतता प्रदान की। कार्यक्रम का समापन देशभक्ति गीत से हुआ जिसमें विद्यालय के कक्षा 2,3,4 के विद्यार्थियों ने बढ़-चढ़कर कर प्रतिभाग किया।
कार्यक्रम के अंत में मुख्य अतिथि डॉ प्रदीप कुमार शर्मा ने कहा कि
राष्ट्र् के भविष्य की बुनियाद बच्चें होते हैं। ये उस राष्ट्र्रुपी वृक्ष की जडें हैं जो नइ पीढ़ी को कार्य, आराधना तथा विद्वता के फल प्रदान करता है। इन बच्चों को भविष्य की लम्बी राह तय करनी है तथा राष्ट्र् को सफलता के मार्ग पर ले जाना है। जीडी ग्लोबल स्कूल बच्चों को राष्ट्र के स्वर्णिमस्वप्न को साकार करने के लिए एक नई पीढ़ी के रूप में तैयार कर रहा है। विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर संजीत कुमार गुप्ता ने बताया कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति2020की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा देश के युवाओं को पर्याप्त कौशल सेट के साथ सशक्त बनाना है जो प्रासंगिक क्षेत्रों में उनके रोजगार को सक्षम करे। विद्यालय की निदेशिका श्रीमती स्वाति अग्रवाल ने कहा कि शिक्षक अपने विद्यार्थियों को एक मूर्ति की तरह गढ़ते हैं। उनके दिशा निर्देश विद्यार्थियों के उज्ज्वल भविष्य की रुपरेखा तय करते हैं तथा उनके लिए नई सम्भावनाऍं पैदा करते हैं। विद्यालय के प्रबंधक श्री गौरव अग्रवाल ने बताया कि
शैक्षणिक उत्कृष्टता के अलावा जीडी ग्लोबल स्कूल छात्रों को उनके चरित्र और समुदाय की भावना विकसित करने में मदद करने के लिए भी समर्पित है। हमारे व्यापक पाठ्येतर कार्यक्रम के माध्यम से, छात्रों को अपनी रुचियों का पता लगाने, नए कौशल विकसित करने और अपने समुदाय को वापस देने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। चाहे यह हमारी खेल टीमों, संगीत कार्यक्रम, या सामुदायिक सेवा परियोजनाओं के माध्यम से हो, छात्रों को सहायक और चुनौतीपूर्ण वातावरण में सीखने और बढ़ने का अवसर दिया जाता है।विद्यालय की प्रधानाचार्या श्रीमती मोनिका सारस्वत पाण्डेय ने अपने उद्बोधन में कहा कि विद्यालय राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020को पूर्णतया पालन करते हुए बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए कटिबद्ध है। जिसके तहत विद्यालय में बच्चों को संगीत,गायन, वादन, खेल आदि कौशल का प्रशिक्षण भी दिया जाता है। आजमगढ़ मंडल में एक मात्र जीडी ग्लोबल स्कूल ही ऐसा स्कूल है जहां विद्यार्थियों को सर्वाधिक विषयों में विकल्प चुनने की स्वतंत्रता है। मुख्य विषयों में विज्ञान, वाणिज्य तथा मानविकी वर्ग में गृहविज्ञान,भूगोल, समाजशास्त्र, विधिकअध्ययन, हिंदुस्तानी वोकल आदि जैसे नये विषयों में भी विद्यार्थियों की रूचि के आधार पर विकल्प उपलब्ध हैं।बच्चे उर्वरभूमि पर लहलहाती फसलों के सदृश हैं, जिस पर किसी भी राष्ट् की आधारशिला निर्धारित होती हैं।
किसी राष्ट्र् के भविष्य को आकार देने का प्राथमिक उतरदायित्व तीन लोगों पर है-माता, पिता एवं शिक्षक। इनमें से शिक्षक सर्वमहत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करते हैं-चूंकि ये इस कार्य में विशेष तौर पर प्रशिक्षित तथा चयनित होते हैं और अपनी क्षमतानुरुप इस कर्त्तव्य को निभाते हैं। एक शिक्षक विद्यार्थियों, अभिभावकों तथा समाज के विश्वास का पात्र होता है और इस विश्वास को पूरी सत्यनिष्ठा के साथ निबाहना उसका धर्म होता है, वह प्रत्येक परिस्थिति में अपने विद्यार्थियों पर आशीर्वाद की वर्षा करता है।