आजमगढ़ । सरकारी धन गबन के एक मामले में ईओडब्लू वाराणसी की टीम ने शनिवार को आजमगढ़ के अहरौला थाना क्षेत्र से एक ठेकेदार को गिरफ्तार कर लिया। अहरौला थाने में इसकी इंट्री कराने के बाद ईओडब्लू की टीम उसे लेकर वाराणसी रवाना हो गई। मामला 2013 में पर्यटन विकास व सौंदर्यीकरण के लिए गाजीपुर जिले को जारी हुए सात करोड़ रुपये का है।
एसपी ईओडब्लू (वाराणसी) डी प्रदीप कुमार ने इसकी पुष्टि की। वर्ष 2013 में प्रदेश सरकार ने गाजीपुर जिले के ब्लॉक भदौरा में स्थित परमेन शाह तालाब, सेवराई चीर पोखरा, मां कामाख्या धाम गमहर व देवकली देव स्थल के पर्यटन विकास व सौंदर्यीकरण के लिए लगभग सात करोड़ रुपये अवमुक्त किया था।
कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड था। कार्यदायी संस्था के अधिकारियों/कर्मचारियों ने ठेकेदार, निर्माण सामग्री सप्लाई करने वाले फर्म के स्वामियों से मिलीभगत कर मानक के अनुरूप कार्य नहीं कराया। इतना ही नहीं आधा अधूरा कार्य करा कर सरकारी धन का बंदरबाट कर लिया गया।
इसकी जानकारी होने पर 2017 में अविनाश चंद्र संयुक्त निदेशक पर्यटन विंध्याचल मंडल वाराणसी ने गाजीपुर जिले के गहमर थाने में कार्यदायी संस्था के अधिकारियों, कर्मचरियों के अलावा ठेकेदार के खिलाफ मामला दर्ज कराया। प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए इसकी जांच 2018 में ईओडब्लू को दे दी गई।
जांच में ईओडब्लू के निरीक्षक सुनील कुमार वर्मा ने कार्यदायी संस्था के तत्कालीन परियोजना प्रबंधक, अन्य अधिकारियों व कर्मचारियों के साथ ही ठेकेदार को भी संलिप्त पाया। जिस पर ईओडब्लू की टीम शनिवार को जिले में पहुंची और ठेकेदार राम प्रसाद यादव पुत्र रामदुलार यादव निवासी शाहवानीपुर थाना अहरौला को निर्माणाधीन राजकीय पॉलीटेक्निक शमशल्लीपुर माहुल के पास से गिरफ्तार कर लिया। थाने पर लिखा पढ़ी के बाद ईओडब्लू की टीम उसे कोर्ट में पेश करने के लिए वाराणसी लेकर रवाना हो गई।