गोण्डा। कानून का पालन कराने व लाखों रुपये खर्च करके जागरूकता अभियान वाले विभाग व अफसर स्वयं ही नियम कानून को ताक पर रखकर प्रतिबंधित पॉलीथिन का उपयोग कर रहे हैं। नियम कानूनों का उल्लंघन का वाक्या तब प्रकाश में आया,जब परसपुर थाना में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव को आयोजित कार्यक्रम में प्रतिबंधित प्लास्टिक गिलास का धड़ल्ले से बेरोकटोक उपयोग हुआ और थाना परिसर के सजे पण्डाल के बगल प्लास्टिक गिलास जमीन पर बिखरे रहे हैं,जो परसपुर क्षेत्र में चर्चा का विषय बन गया। वहीं इसके जिम्मेदार अफसर इस विषय पर अंजान बने रहे हैं। बता दें कि एक तरफ प्रदेश सरकार पर्यावरण सरंक्षण को लेकर जन जागरूकता अभियान में लाखों रुपये खर्च कर रही है। पॉलीथिन का उपभोग पर्यावरण के लिये नुकसान दायक साबित हो रहा है। पर्यावरण सरंक्षण के लिये शासन प्रशासन पॉलीथिन प्रतिबंध, पौधरोपण आदि की मुहिम चला रहा है। प्लास्टिक गिलास प्रयोग प्रतिबंध करो,झोला थैला का प्रबंध करो। प्रायः यह नारा स्कूली बच्चों की रैली निकालकर जनमानस को जागरूक करते समय अक्सर सुना जाता है। लेकिन आयोजित कार्यक्रमों में धड़ल्ले से प्रयोग हो रहे धरातल पर पड़े प्लास्टिक गिलास उन जिम्मेदारों को मुंह चिढ़ा रहे हैं, जो सामाजिक राजनीतिक मंचों पर ज्ञान की बड़ी बड़ी बातें करते हैं। पॉलीथिन प्रतिबंध को लेकर सरकार लाखों रूपये पानी की तरह खर्च करके जनमानस को जागरूक कर रही है। पॉलीथिन प्रतिबंध को लेकर आये दिन प्रशासन अभियान चलाकर दंडात्मक कार्रवाई कर रहा है। लेकिन जिम्मेदार अफसरों के निरंकुशता के चलते प्रतिबंधित प्लास्टिक गिलास का उपयोग स्वच्छता मिशन को मुँह चिढ़ा रहा है।